सहारनपुर । उत्तर प्रदेश के सहारनपुर में हथनी कुंड बैराज से निकलने वाली यमुना नदी अब शांत होती दिख रही है। पर्वतीय क्षेत्रों में लगातार हो रही मूसलाधार बारिश में कमी आने के बाद यमुना का जलस्तर घट गया है। यमुना नदी का जलस्तर घटने से लोगों को बड़ी राहत मिली है। यमुना नदी के कारण आई बाढ़ का पानी भी घटने लगा है। वहीं हथनी कुंड बैराज से छोड़ा गया लाखों क्यूसेक पानी अब दिल्ली और उसके आसपास के इलाकों में तबाही मचा रहा है।
बैराज पर बढ़ रहे पानी के दबाव को कम करने के लिए लगातार यमुना नदी में लाखों क्यूसेक पानी प्रतिदिन के हिसाब से छोड़ा जा रहा था। इसकारण यूपी और हरियाणा के कई इलाकों में बाढ़ की स्थिति बन गई थी। खासतौर पर सहारनपुर के बेहट, सदर और नकुड तहसील में बाढ़ ने भारी तबाही मचाई थी सैकड़ों किसानों के खेत जलमग्न हो गए थे। यमुना के आसपास खेती करने वालों की फसलें पूरी तरह से तबाह हो गई थी। यमुना में बाढ़ आने के चलते यूपी और हरियाणा को जोड़ने वाला पुल भी डूब गया था। हालात इतने खराब थे कि पिछले 6 दिनों से सहारनपुर अंबाला का रेल मार्ग पूरी तरह से बाधित है और ट्रेनों को रद्द कर दिया गया है। वही पवित्र श्रावण मास होने के चलते कावड़ यात्रा चल रही है।
यमुना नदी में आई बाढ़ के कारण ट्रेनों के संचालन पर बुरा प्रभाव पड़ा है। अंबाला रेल मार्ग को पूरी तरह से बंद किया गया है। इसके चलते अंबाला और मेरठ डिवीजन की ट्रेनें प्रभावित है। लखनऊ से पंजाब, हरियाणा और जम्मू कश्मीर जाने वाली ट्रेनें। दिल्ली से पंजाब, हरियाणा और जम्मू कश्मीर जाने वाली यात्री ट्रेनें रद्द पड़ी है। यमुना के खतरनाक जलस्तर को देखते हुए दिल्ली स्थित यमुना पुल को बंद कर दिया गया। पुरानी दिल्ली जाने वाली अधिकांश ट्रेन कैंसिल है। सड़क मार्ग भी बंद होने के कारण रोडवेज बसें नहीं चल रही है। दिल्ली जाने वाली यात्री परेशान है और कई दिन से वह दिल्ली नहीं जा पा रहे हैं।